
आईएनएस न्यूज नेटवर्क
Panjab Elections 2022 : पंजाब विधानसभा का चुनाव दिलचस्प होता जा रहा है. कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने फायरब्रांड नेता नवजोत सिंह सिद्धू को दरकिनार कर चरणजीत सिंह को मुख्यमंत्री घोषित किया था तब से कांग्रेस में आपसी खींचतान बढ़ गई है. लेकिन इससे भी मजेदार वाकया शनिवार को हुआ.
गुरुदासपुर जिले की हरगोविंदपुर विधानसभा सीट से कांग्रेस विधायक रहे बलविंदर सिंह लड्डी भाजपा 28 दिसंबर को भाजपा में शामिल हुए थे. लेकिन पांच दिन बाद कांग्रेस में वापस लौट गए थे. 40 दिन बाद फिर कांग्रेस छोड़ कर फिर से भाजपा में शामिल हो गए.
दरअसल लड्डी पंजाब कांग्रेस के नेता फतेहजंग बाजवा के बेहद करीबी माने जाते हैं. पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह के कांग्रेस छोड़ने के बाद उन्होंने भी कांग्रेस छोड़ दिया था. कैप्टन की पार्टी शामिल होने के बजाय भाजपा में चले गए थे. कांग्रेस में जारी खींचतान से परेशान होकर वापस भाजपा में लौट आए हैं.
भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव तरुण चुघ ने बटाला में लड्डी को भाजपा में शामिल करवाया. इस अवसर पर बटाला से भाजपा प्रत्याशी फतेहजंग बाजवा भी मौजूद थे. यह सीट गुरदासपुर में आती है। यहां से कांग्रेस ने मनदीप सिंह को टिकट दिया है.
प्रचार से गायब हुए सिद्धू
पंजाब में एक और मजेदार वाकया हुआ है. खुद को मुख्यमंत्री पद का प्रबल दावेदार मानने वाले कांग्रेस नेता नवजोत सिंह सिद्धू पिछले कई दिनों से प्रचार अभियान से ही गायब हो गए हैं. चरणजीत सिंह चन्नी को मुख्यमंत्री पद की घोषणा के बाद से नवजोत खफा-खफा से थे. इच्छा न होते हुए भी बुझे मन से प्रचार कर रहे थे. सिद्धू के एक करीबी नेता ने उन्हें सुपर सीएम का तमगा दिया था. लेकिन वे पिछले तीन दिनों से गायब हैं. प्रचार से गायब होने के बाद भी पार्टी आलाकमान की तरफ से उनकी खोज नहीं हो रही है. कांग्रेस के शीर्ष नेता भी उनकी सनक से परेशान हो चुके थे. अब कांग्रेस नेताओं को लगता है कि चलो अच्छा हुआ जो खुद ही शांत हो गए वरना वे जब भी मुंह खोलते थे नेताओं की ऐसी तैसी कर देते थे.




