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केंद्रीय मंत्री नारायण राणे को नहीं मिली राहत

बंगले को नियमित करने का आवेदन बीएमसी ने ठुकराया

तोड़क कार्रवाई का रास्ता साफ
 आईएनएस न्यूज नेटवर्क
मुंबई. केंद्रीय मंत्री नारायण राणे के जुहू तारा रोड स्थित अधीश बंगले में किए गए अवैध निर्माण को बीएमसी बिलकुल राहत देने के मूड में नहीं है. हाईकोर्ट के निर्देश के बाद राणे ने बीएमसी के पास बंगले को नियमित करने का आवेदन दिया था जिसे आज बीएमसी ने ठुकरा दिया है. आवेदन खारिज होने के बाद अधीश में किया गया अवैध निर्माण तोड़ने का रास्ता साफ हो गया है.बीएमसी कभी भी अवैध निर्माण पर हथौड़ा चला सकती है.
बंगले हुआ कई जगह अवैध निर्माण
 आरटीआई कार्यकर्ता की शिकायत पर बीएमसी ने अधीश बंगले को दो बार नोटिस दिया था. फरवरी महीने में के पूर्व विभाग के अधिकारियों ने बंगले पर जाकर अवैध निर्माण का निरीक्षण किया था. नाप-जोख के बाद पता चला कि बंगले के सेंक्शन किए प्लान के अतिरिक्त निर्माण किया गया है. विशेष यह कि बंगले का निर्माण करते समय सीआरजेड नियमों का उल्लंघन भी किए जाने का आरोप है. बीएमसी ने 351 की नोटिस दिया था. नोटिस में कहा गया था कि पार्किंग, बेसमेंट और स्टोर रुम की जगह पर  निवास के लिए निर्माण किया गया है. पहले,दूसरे, तीसरे और पांचवें फ्लोर पर टेरेस की जगह पर निवास बनाया गया है. इसके अलावा चौथे,छठें, आठवीं मंजिल के पॉकेट टेरेस पर भी निवास के लिए निर्माण किया गया है. नोटिस में कहा गया था कि स्वयं अवैध निर्माण को हटाएं नहीं तो उसे बीएमसी तोड़ देगी.
बीएमसी ने 15 प्वाइंट के आधार पर खारिज किया आवेदन
 बीएमसी की नोटिस के खिलाफ राणे ने मुंबई हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी. हाईकोर्ट ने बीएमसी को तुरंत कोई एक्शन नहीं लेने का आदेश दिया था. हाईकोर्ट ने बीएमसी से कहा था कि राणे की तरफ निर्माण कार्य को नियमित करने के आवेदन पर सुनवाई करे. यदि बीएमसी का निर्णय खिलाफ में आता है तो बीएमसी तीन सप्ताह तक कोई कार्रवाई न करे,इस दौरान राणे दुबारा कोर्ट आ सकते है. आवेदन खारिज करते समय बीएमसी अधिकारी ने 15 प्वाइंट रखे हैं जिसके अनुसार निर्माण को नियमित नहीं किया जा सकता है. अधीश बंगले का मामला एक बार फिर कोर्ट जा सकता है जहां इसका निपटारा होगा.

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