अमित शाह की बैठक का ऑडियो,वीडियो मीडिया में लीक
भाजपा में मची खलबली, पार्टी ने शुरू की जांच

आईएनएस न्यूज नेटवर्क
मुंबई. मुंबई दौरे पर आये केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मुंबई महानगरपालिका चुनाव के संदर्भ में पार्टी कार्यकर्ताओं की बैठक ली थी. कार्यकर्ताओं को संबोधित करने वाला अमित शाह का वीडियो लीक होने से पार्टी में खलबली मचा गई है. (Audio Video of amit Shah Meeting leaked in media Bjp Set inquiry) अब भाजपा वीडियो लीक मामले की जांच कर रही है कि आखिर वीडियो शूट कर किसने इसे लीक किया. शाह की बैठक का रिकॉर्डिंग कई चैनलों पर भी दिखाया गया था.
अमूमन देखा गया है कि पार्टी की अंदरूनी बैठक शुरू होने के पहले मीडिया को बाहर कर दिया जाता है. जिससे बैठक में क्या चर्चा हुई गुप्त रहे. बैठक के बाद पार्टी अपना वक्तव्य जारी करती है. लेकिन अमित शाह जब कार्यकर्ताओं को संबोधित कर रहे थे उस समय भाजपा की एक पूर्व नगरसेविका जिसे पार्टी से निकाल दिया गया है वह वीडियो शूट करती दिखी. पार्टी सूत्रों का दावा है कि अमित शाह ने दो बार महिला को वीडियो शूट नहीं करने के टोका था. लेकिन महिला फिर भी नहीं मानी.
पूर्व नगरसेविका को बैठक में इंट्री मिलने से सभी हैरान
दरअसल भाजपा की बैठक में सांसदों, पार्टी के वरिष्ठ पदाधिकारी, विधायक और पूर्व नगरसेवकों को ही बुलाया गया था. पूर्व नगरसेविका रजनी केणी का भी नाम उस लिस्ट में था लेकिन उनके नाम के आगे (Spelled) लिखा गया था. संभवतः गेट पर खड़े कार्यकर्ताओं को इसका मतलब ही समझ में नहीं आया और केणी को भीतर जाने दिया गया. भाजपा पदाधिकारी केणी को बैठक में देख कर हैरान रह गए लेकिन बैठक में कोई व्यवधान उत्पन्न न हो इस लिए चुप रहे.
रजनी केणी मुलुंड के वार्ड क्रमांक 105 से भाजपा की नगरसेविका चुनी गई थी. उनके बेटे का आपराधिक रिकॉर्ड देखते हुए बीजेपी ने पार्टी से निष्कासित कर दिया था. फिर भी गेट पर खड़े कार्यकर्ताओं की चूक के कारण उन्हें अमित शाह की बैठक में प्रवेश मिल गया. भाजपा सूत्रों के अनुसार रजनी केणी को भाजपा की बैठक का शूटिंग करते देखा गया था. शाह की बैठक का ऑडियो सहित संबोधन मीडिया चैनलों पर आने के बाद भाजपा के नेता भौंचक्के रह गए. अब इस मामले की जांच की जा रही है कि चूक कहां हुई. सूत्र बताते हैं कि अमित शाह ने महिला को टोका भी था कि बहन जी वीडियो मत बनाईए. भाजपा इस तरह की बैठकों में अधिक सावधानी बरतने वाली है जिससे आगामी बैठकों में इस तरह की ग़लती को दोहराया न जा सके.