कोविड घोटाला: बीएमसी के उच्च अधिकारी को ईडी की नोटिस
ईडी की नोटिस से मनपा अधिकारियों में हड़कंप

आईएनएस न्यूज नेटवर्क
मुंबई. प्रवर्तन निदेशालय (Enforcement Directorate) ने मुंबई मनपा (Mumbai municipal corporation Covid Scam)में बनाए गए जंबो कोविड सेंटर घोटाले की जांच शुरू कर दी है. Covid scam: ED notice to top BMC official) इस मामले में ईडी ने मुंबई नगर निगम के एक उच्च पदस्थ अधिकारी को नोटिस जारी किया है. यह नोटिस कोरोना के दौरान चिकित्सा उपकरणों की खरीद के मामले में जारी किया गया है. कोरोना काल में की गई खरीदारी की जांच सोमवार से शुरू किए जाने की जानकारी सूत्रों ने दी है.
बीएमसी में शुरू की गई कैग जांच से बचने के लिए बीएमसी अधिकारी तरह तरह के अडंगे लगा रहे थे . इस बीच ईडी की नोटिस से अधिकारियों के मनसूबे पर पानी फिरता नजर आ रहा है. कोरोना काल में मुंबई नगर निगम ने कुछ विशेष कंपनियों को टेंडर दिए गए थे इन खास कंपनियों से मेडिकल डिवाइस खरीदे गए. इस पूरी खरीद फरोख्त की ईडी ने जांच शुरू कर दी है. ईडी ने इस मामले में मुंबई नगर निगम के एक उच्च पदस्थ अधिकारी को नोटिस जारी किया है.
कोरोना के समय बीएमसी अधिकारियों को मिले पेंडमिक अधिकार का जम कर दुरुपयोग करने का आरोप विपक्ष ने लगाया था विपक्षी पार्टी लगातार शिकायत कर रही थी कि कोरोना काल में बड़े पैमाने पर घोटाला हुआ है. लेकिन मुंबई नगर निगम ने कहा था कि कोरोना काल में हुई खरीदारी को जांच के दायरे में नहीं लाया जा सकता है.

कैग की जांच जारी रहेगी
सीएजी खरीद और काम के खर्च को छोड़कर कोरोना काल में किए गए कार्यों की जांच करता रहेगा. कैग राज्य का बजट पेश करने से पहले अपनी रिपोर्ट पेश करेगा. राज्य सरकार ने निर्देश दिया था कि कोरोना काल में 3500 करोड़ के कार्यों को छोड़कर अन्य 7500 कार्यों पर हुए खर्च का ऑडिट किया जाएगा. एपिडेमिक एक्ट के प्रावधानों के अनुसार कोराना कार्य के टेंडर पर सवाल नहीं उठाया जा सकता है.
इसके अलावा मुंबई नगरपालिका के करीब 76 कार्यों जैसे कोरोना सेंटर का निर्माण, सड़क निर्माण, जमीन खरीद की जांच कैग द्वारा की जा रही है. लेकिन कोरोना कार्य की जांच को इससे अलग रखा गया है.
दवाओं की खरीद में भी भ्रष्टाचार
कोरोना काल में दवाओं की खरीद फरोख्त में बीएमसी का मध्यवर्ती खरीदी विभाग ( CPD) के अधिकारियों ने उपकरणों और दवाओं को की गुना कीमत पर खरीदा. ‘इनसाइट न्यूज स्टोरी’ के पास इस बात के पुख्ता प्रमाण है. इनसाइट न्यूज स्टोरी की खबर के बाद ग्लव्ज और मास्क के दो अलग अलग टेंडर को पिछले महीने बीएमसी को रद्द करना पड़ा था. लेकिन सीपीडी में बैठे अधिकारियों ने टेंडर रद्द होने का कारण बता कर अस्पतालों को उसी कंपनी से उसी दर पर खरीदा के लिए पत्र भेजा था. इस मामले में अब ईडी की जांच शुरू होने से बीएमसी के भ्रष्ट अधिकारियों का बचना मुश्किल होगा. अधिकारी ही नहीं बीएमसी की सत्ता में बैठे नेताओं पर भी गाज गिर सकती है