
आईएनएस न्यूज नेटवर्क
मुंबई. मुंबई महानगरपालिका ( BMC) ने आम मुंबईकरों को उनके घरों के नजदीक स्वास्थ्य सुविधा मिल सके इसलिए हिंदू हृदय सम्राट बालासाहेब ठाकरे दवाखाना (Purchase of medicines for HBT clinic) खोलने का निर्णय लिया था. मुंबई में अब तक 52 एचबीटी दवाखाने खोले गए हैं लेकिन इन दवाखानों में दवाओं के आभाव के कारण मरीजों को वापस जाना पड़ रहा है. हालांकि बीएमसी ने एचबीटी पॉलिक्लीनिक, एचबीटी दवाखानों और एनसीडी सेल के लिए सिरप, ड्राप और क्रीम खरीदने के एक प्रस्ताव बीएमसी कमिश्नर इकबाल सिंह चहल के पास मंजूरी के भेजा था. कमिश्नर ने इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है.
पिछले महीने से हिंदू ह्दय सम्राट बालासाहेब ठाकरे दवाखाना के लिए डॉक्टर, कर्मचारी को आऊट सोर्स किया जा रहा है. इसके बाद अब तक खोले गए दवाखानों में स्टाफ नहीं होने के कारण अधिकांश बंद पड़े हैं. एक तरफ स्टाफ की कमी है वहीं दूसरी तरफ जहां डॉक्टर मौजूद हैं वहां दवाएं नहीं हैं. जिस कारण से दवाखानों में जाने वाले नागरिकों को खाली हाथ लौटना पड़ रहा है. इन दवाखानों में 149 प्रकार की जांच मुफ्त में की जा रही है. लेकिन स्टाफ की कमी लोगों की परेशानी का सबब बन गया है.
एचबीटी दवाखानों में आवश्यक दवाओं की खरीद के लिए पिछले महीने एक प्रस्ताव पेश किया गया था. जिसमें हिंदुस्तान लेबोरेटरी लिमिटेड और नाझ मेड साइंस फार्मा को अलग अलग दवाओं की सप्लाई के लिए चयन किया गया था. इन दोनों कंपनियों ने 8 प्रकार की दवाओं के लिए हामी भरी थी. जबकि 33 विषयों के लिए ठेकेदार आगे नहीं आए. इन दोनों कंपनियों को 75 लाख 56 हजार 670 रुपए का ठेका दिया गया है.
मुंबई के इन दवाखानों में शाम 4 बजे से रात 11 बजे तक 15 दवाखानों में 15 डॉक्टर और उतने ही मल्टी पर्पज स्टाफ के लिए वर्ष 2019 में रुबी अलकेयर सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड को ठेका दिया गया था. इस कंपनी का ठेका 30 जनवरी को समाप्त हो गया. अब उस मूल कांट्रेक्ट ठेके को 28 फरवरी तक बढ़ाने की अनुमति मांगी गई है.




